केरल सरकार ने कोरोना वायरस के तीसरे मामले की पुष्टि के बाद इसे 'राज्य आपदा' घोषित कर दिया है। सरकार ने वायरस की रोकथाम के लिए अब तक 2,239 लोगों की पहचान की है। इन सभी की निगरानी की जा रही है। केरल के स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी किए गए हेल्थ बुलेटिन के मुताबिक 2,155 लोगों को उनके घरों में ही अलग कर दिया गया है, जबकि 84 लोगों को अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। 

वहीं, चीन से भारत लाए गए लोगों में से पांच में सर्दी-जुकाम के लक्षण पाए गए हैं। इसके बाद उन्हें मानेसर स्थित सेना के स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया है। खबरों के मुताबिक चीन से लौटे भारतीयों के लिए सेना और आईटीबीपी ने अलग से चिकित्सा व्यवस्था की है। ये स्वास्थ्य केंद्र हरियाणा के मानेसर में बनाए गए हैं। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार चीन से लौटे किसी भी व्यक्ति में संक्रमण पाए जाने पर उसे समूह से अलग कर इन अस्पतालों में भर्ती कराया जाएगा। इसके लिए अस्पतालों में 100 बिस्तरों वाला वॉर्ड बनाया गया है।

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वहीं, दिल्ली स्थित राम मनोहर लोहिया, एम्स और सफदरजंग अस्पतालों में भी कोरोना वायरस के पॉजिटिव मरीजों के इलाज के लिए चिकित्सा सुविधाओं का इंतजाम किया गया है। यहां के डॉक्टरों ने कहा है कि संदिग्ध मरीजों को सभी सुविधाएं दी जा रही हैं। उनके मुताबिक टेस्ट के बाद कोरोना वायरस के संक्रमण की पुष्टि नहीं होने पर संदिग्धों को छुट्टी दे दी जाएगी। इसके अलावा चीन से वापस लौटे किसी व्यक्ति में अगर फ्लू जैसे लक्षण दिखाई देते हैं, तो उनके लिए 'DISHA 1056' हेल्पलाइन नंबर जारी किया है। इस पर संपर्क करने के बाद संदिग्ध व्यक्ति को विशेष एंबुलेंस की मदद से अस्पताल में भर्ती कराया जाएगा।

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दूसरी तरफ केंद्र सरकार भी अपने स्तर पर कई कदम उठा रही है। खबरों के मुताबिक उसने चीन से आने वाले पर्यटकों को ई-वीजा देने की सुविधा अस्थायी रूप से निलंबित कर दी है। इस कदम के बाद चीनी व अन्य विदेशी नागरिक अगले आदेश तक भारत नहीं आ सकेंगे। वहीं, इस आपदा से निपटने के लिए उच्चस्तरीय मंत्री समूह का गठन किया गया है। उधर, पुणे स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी में कोरोना वायरस के 140 संदिग्ध लोगों के सैंपल भेजे जा चुके हैं। इनमें से 46 की रिपोर्ट नेगेटिव निकली है। बता दें कि अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती ऐसे मरीजों को अलग रखा गया है।

क्या है कोरोना वायरस?
कोरोना वायरस, कोरोनाविरिडाई परिवार का नया सदस्य है। कोरोना का मतलब क्राउन (सिर का ताज) होता है। इस वर्ग के विषाणुओं की सतह पर क्राउन जैसा उभार होता है, इसलिए इस विषाणु वर्ग या परिवार के वायरसों का नाम कोरोना वायरस पड़ गया। कोरोना वायरस से होने वाला संक्रमण एक तरह का वायरल इन्फेक्शन है, जो मुख्य रूप से श्वसन तंत्र, नाक और गले को प्रभावित करता है। अगर इन्फेक्शन ज्यादा नहीं है, तो इससे सामान्य सर्दी जुकाम जैसे लक्षण विकसित होने लगते हैं। वहीं, अगर संक्रमण ज्यादा है तो इससे होने वाले लक्षण गंभीर भी हो सकते हैं, मसलन तेज बुखार, सांस लेने में तकलीफ, खांसी आदि।

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